हम लोग वास्तुदोष का उपाय एवं मानव जीवन के विभिन्न पहलुओं ,घटनाओ ,कारको ,कारणो पर निष्पक्ष भाव से अपने विचार देते है is blog par vastu tips vastushastr se sambandhit samsyao par content , vastu upay bhi diya jata hai
सोमवार, 30 अक्टूबर 2017
राजस्व यज्ञ का फल मिलता है इसे लगाने से By performing this, one gets the results of Revenue Yagya.
रविवार, 29 अक्टूबर 2017
आपके सारे दुःखो और कष्टों को हर लेगा यह वृक्ष।This tree will take away a...
- असली अशोक के पेड़ में पत्तिया आम के पत्तो की बनावट की तरह होती है जिसकी लम्बाई 8 से 9 इंच और चौड़ाई में 2.5 इंच चौड़ी होती है। इसमें जो फूल लगते है वह नारंगी रंग होते है।
- जबकि नकली अशोक के पेड़ में फूल सफ़ेद रंग के होते है। इसके पेड़ देवदार वृक्ष जैसे होते है।
शनिवार, 28 अक्टूबर 2017
बुरी आत्माओं को दूर करना हो तो ये पौधा लगाये। To remove evil spirits, th...
- यह मार्केट में शीशे के पात्र में बांसो के मण्डल बनाकर रखा रहता है इसे आप लाकर आसानी से आग्नेय दिशा में रख सकते है।
- बांस के ऎसे पौधे भूलकर भी उत्तर - पूर्व या ईशान कोण में नहीं लगाना चाहिए क्योकि इस दिशा में इस पौधे को लगाने से पहले वास्तु ज्ञान और दिशा का ज्ञान जरूर प्राप्त कर ले क्योकि वास्तुशास्त्र में दिशा बहुत ही महत्वपूर्ण मानी जाती है।
शुक्रवार, 27 अक्टूबर 2017
गुरुवार, 26 अक्टूबर 2017
ताजमहल की यह सच्चाई नहीं जानते होंगे You do not know this truth of the T...
एक घड़ा जो सीढ़ी के वास्तु दोष को करेगा दूर। Remove the ladder's Vaastu defects from the pitcher
- कुछ लोग सोचते है कि सीढ़ी के नीचे खाली जगह का उपयोग क्यों ना कर लिया जाय। इस उपयोग के विचार से लोग सीढ़ी के नीचे बाथरूम ,टॉयलेट , किचेन एवं पूजा घर बनाने लगते है। जो एक बहुत बड़ा वास्तु दोष होता है।
- कुछ लोग सोचते है सीढ़ी के नीचे क्यों ना जूता चप्पल रखने का स्थान बना दिया जाय।
- सीढ़ियों की पूरी संख्या को विभाजित करें तो शेष 2 बचना चाहिये यदि ऐसा होता है तो यह शुभ माना जाता है।
- सीढ़ी के नीचे के स्थान को कभी -भी भूलकर अपने नीजी कार्यो में ना लाये अर्थात बाथरूम ,टॉयलेट किचेन व पूजा घर न बनवाये। क्योकि इसका उपयोग करने पर वास्तु दोष होता है जिससे बच्चो की पढ़ाई लिखाई एवं प्रगति के लिए बाधा उत्पन्न हो जाती है।
- सीढ़ी के शुरू और अंतिम में दरवाजा जरूर होना चाहिये।
- सीढ़ी के लिए उत्तर - पश्चिम की दिशा अच्छी मानी जाती है।
- यदि सीढ़ी की दिशा दक्षिण - पूर्व होतो यह भी अच्छा माना जाता है।
- यदि सीढ़ी की दिशा उत्तर - पूर्व होतो सीढ़ी दीवार से जुड़ी हुयी नहीं होनी चाहिये।
- यदि सीढ़ी की दिशा ईशान कोण में हो तो ऐसी स्थिति में आर्थिक स्थिति कमजोर हो सकती है और आर्थिक तंगी भी बढ़ती चली जाएगी।
- यदि सीढ़ी गोलाकार हो तो सीढ़ियों के चढ़ाव clockwise डायरेक्शन में होना चाहिये anticlockwise नहीं होनी चाहिये।
- कभी भुलकर भी घर के सामने सीढ़ी नहीं बनवाना क्योकि यह सबसे बड़ा वास्तु दोष माना जाता है। ऐसी स्थिति में मकान मालिक की आर्थिक स्थिति में काफी नुकसान हो सकता है।
- सीढ़ीयो कि संख्या odd में होनी चाहिये जैसे 3,7,11,13।
मंगलवार, 24 अक्टूबर 2017
इस वीडियो को देखे और जाने आपकी त्वचा किस प्रकार की हैWatch this video an...
सोमवार, 23 अक्टूबर 2017
बाजार के इन चीजों को उपयोग से पहले यह वीडियो देखे जरूर नहीं तो जा सकती ह...
- यदि market में कुछ चीज खरीदने गये हो या घूमने टहलने गये हो और नास्ता करने का मन कर रहा हो तो कृपया नास्ता से पहले इन चीजों पर घ्यान दे। यदि नास्ता में आप समोसा , कचौड़ी,चाट,पकोड़े,छोले भटूरे या अलग -अलग तरह कि नमकीन मिठाईया लेने से पहले आप जरुए सोचे कि इसमें कही ट्रांस फैट तो नहीं है।
- इस प्रकार घर के बच्चो के लिये तथा परिवार के लिये ये चीजे लेने से पहले यह विचार कर ले कि इसमें भी ट्रांस फैट तो नहीं है। वह चीजे है जैसे -बिस्किट ,केक ,कैंडी ,पेडीज ब्रेड,टोस्ट,पिज़्ज़ा ,बर्गर और बेकरी के सभी समान।
- सभी Snacks फ़ूड जैसे आलू कि चिप्स,फ्रेंच फ्राइस ,स्टेंट नूडल्स आदि में भी भरपूर मात्रा में ट्रांस फैट होते है।
- वनस्पति तेल और आंशिक हाइड्रोजिनेटेड रिफाइन तेल इसमें भी काफी मात्रा में ट्रांस फैट होते है।
- रसोई में unsaturated oil को जब गर्म करते है तो यह गर्म होते ही ट्रांस फैट बनने लगता है।
रविवार, 22 अक्टूबर 2017
दुनिया के प्राण घातक बीमारियों का आखिर सौदागर कौन Who is the ultimate de...
मार्केटके सभी सौंदर्य प्रसाधन आपको कही बीमार ना बना दे। All the cosmetics in the market should not make you sick.
मार्केट के सभी सौंदर्य प्रसाधन आपको कहीं बीमार ना बना दे
शनिवार, 21 अक्टूबर 2017
जादू का यह पेड़ कई बीमारियों का है वैद्य।This magic tree is of many dise...
शुक्रवार, 20 अक्टूबर 2017
क्या जानते है 3300 ईसा पूर्व टैटू का इतिहास और सच्चाई What do you know about the history and truth of 3300 BC tattoo?
रानी पदमावती का जीवन जब एक जादूगर ने किया बर्बाद ?
मंगलवार, 17 अक्टूबर 2017
सोमवार, 16 अक्टूबर 2017
रविवार, 15 अक्टूबर 2017
रविवार, 8 अक्टूबर 2017
जब कौरव स्वर्ग लोक से धरती पर आ गए। When the Kaurava came to earth from...
शनिवार, 7 अक्टूबर 2017
धन वर्षा और आर्थिक सुधार का है ये अचूक उपाय This is the surefire way to bring wealth and economic improvement.
धन वर्षा और आर्थिक सुधार का है यह अचूक उपाय
- कोर्ट कचहरी से मुक्ति पाने के लिए,
- पति-पत्नी के आपसी झगड़ा को कम करने के लिए ,
- अज्ञात शत्रु के भय से मुक्ति के लिए ,
- वाद विवाद में विजय प्राप्ति के लिए ,
- व्यवसाय में होने वाले हानि को रोकने के लिए ,
- नजर की कुदृष्टि को दूर करने के लिए ,
- रोग को दूर कर स्वास्थ्य लाभ के लिए ,
- धन वृद्धि के लिए ,
- विद्या प्राप्ति और प्रतियोगिता में सफलता पाने के लिए आदि बहुत सारी समस्याओं को दूर करने के लिए इसका उपयोग किया जाता है।
- हत्था जोड़ी को साफ बर्तन में (1 घंटे के लिए ) दूध और चीनी के घोल में डुबोकर रख दें। उसके बाद इसे इस घोल से निकाल कर साफ पानी से धूल ले।
- उसके बाद लौंग और कपूर के साथ इसे रख दें।
- उसके बाद 1 से 2 दिन के लिए किसी जार में तिल के तेल में डुबोकर रख दें।
- जब हत्था जोड़ी की जड़ तेल सोखना बंद कर दें तब उसे जार में से निकाल कर अपने संप्रदाय के अनुसार पूजा का आयोजन करें।
- पूजा का आयोजन करते समय उत्तर या पूर्व दिशा में मुख करके बैठे।
शुक्रवार, 6 अक्टूबर 2017
काले घोड़े की ये चीज़ जो दिलाएगी आर्थिक उन्नति This thing of black horse which will bring economic progress.
आज के इस लेख में बताएंगे काले घोड़े की यह चीज जो दिलाएगी आर्थिक उन्नति।
दुनिया में सब लोगों की इच्छा यही होती है कि धन का अभाव ना होने पाए और धन की उन्नति के लिए या धन की वृद्धि के लिए लोग अपने ज्ञान और अनुभव के आधार पर तरह-तरह की कोशिश करते रहते हैं। यदि इन कोशिशें में या किसी कार्य को करने में उसे क्षेत्र से संबंधित expert से सुझाव लिया जाए तो कार्य की गुणवत्ता अच्छी हो सकती है और इसके साकारात्मक परिणाम मिलने की संभावना ज्यादा हो जाती है।
आज के इस लेख में जन सामान्य की स्थिति में सुधार हो ,लोग प्रगति के रास्ते पर जल्दी बढ़ सके इसको ध्यान में रखते हुए जल्दी परिणाम देने वाले वस्तु सुझाव को बताने की कोशिश की जा रही है।
इसके बारे में पूरी जानकारी के लिए आइए आगे बढ़े
बहुत सारे बताए जाने वाले वास्तु टिप्स में आज के इस लेख में बताए जाने वाला वास्तु टिप्स काफी तेज असर करने वाला है।
यह उपाय व्यक्ति के आर्थिक स्थिति में सुधार लाता है इस उपाय को करने के लिए काले घोड़े के नाल की जरूरत है। लेकिन इसमें इस बात का ध्यान देना जरूरी है कि काले घोड़े के पैर में लगा हुआ नाल जितना पुराना होगा उतना ही अच्छा होगा यदि आपको जल्दी उपयोग किया हुआ नाल मिले तो इस बात का ध्यान देना है कि वह नाल कम से कम तीन माह पुराना हो।
हिंदू संप्रदाय में काली चीज को शनिदेव का प्रतीक माना जाता है अर्थात कला घोड़ा शनिदेव का प्रतीक माना जाता है। जिससे शनि का प्रभाव कम हो जाता है जब भी काले घोड़े का नाल ले आए तो उसमें काट छांट बिल्कुल ना करें क्योंकि यदि आप ऐसा करते हैं इसका प्रभाव समाप्त हो जाएगा। इसको उपयोग में लाने के लिए नाल को काले कपड़े में लपेटकर काले धागे से बांधकर मुख्य दरवाजे पर लटका सकते हैं या मुख्य दरवाजे पर कहीं सुरक्षित स्थान पर रख सकते हैं यदि किसी का प्रवेश द्वार का चौखट लकड़ी का बना हो तो चौखट के बीचो-बीच इसे कील द्वारा ठोक सकते हैं लेकिन याद रहे इस काले कपड़े में ही रखना है ऐसा करने पर कुछ ही दिनों में ही आर्थिक समस्या दूर होने लगेगी और पूरा परिवार आर्थिक उन्नति के तरफ बढ़ने लगेगा और घर में होने वाले झगड़ा झंझट शांत हो जाएंगे और सभी शांति पूर्वक जीवन व्यतीत करने लगेंगे।
आज के इस लेख में बस इतना ही फिर मिलेंगे नई बात और जानकारी के साथ और आपको एक विशेष सूचना देना है कि हमारा यूट्यूब चैनल भी है जिस पर इससे संबंधित और भी वीडियो देख सकते हैं लिंक नीचे दिया जा रहा है।
https://www.youtube.com/channel/UC4L2wfvR4c1LSNdemzIG0ZA
गुरुवार, 5 अक्टूबर 2017
बनावट के आधार पर अलग अलग होते है शौचालय Toilets differ depending on their design
- उथले गड्ढे वाला शौचालय
- साधारण गड्ढे वाला शौचालय
- पक्के गड्ढे वाला शौचालय ।
उथले गड्ढे वाले शौचालय
साधारा गड्ढे वाले शौचालय
पक्के गड्ढे वाले शौचालय
पक्के गड्ढे वाले शौचालय वहां बनाए जाते हैं जिन स्थानों पर नर्म मिट्टी होती है गड्ढे को अंदर से पक्का बनाने के लिए लड़कियों की टहनियां , बांस की खपच्ची,पुराने ड्रम ,ईंटों की चिनाई या पत्थरों की चिनाई इसमें से जो भी साधन मौके पर उपलब्ध होते हैं उस से इसका निर्माण किया जाता है ।
बुधवार, 4 अक्टूबर 2017
अपने ही मुख से ठीक करे एसिडिटी Correct your acidity with your mouth
अपने ही मुख से ठीक करे एसिडिटी
अपने ही मुख से ठीक करें एसिडिटी।
- यदि एसिडिटी से आप परेशान है और आपको जल्दी में उपाय समझ में ना आ रहा हो तो आप अपने मुंह के लार को घुट घुट करके निगलना शुरू कर दें। आप देखेंगे कि दो से चार बार में ही आपको आराम महसूस होने लगेगा और एसिडिटी से होने वाली जलन भी कम होने लगेगी।
- लार ग्रंथियां से निकलने वाले लार में पोटेशियम और बाइकार्बोनेट के आयन उपस्थित होते हैं जो अंदर पहुंच करके एसिडिटी के प्रभाव को कम कर देते हैं क्योंकि पोटेशियम एसिड को उदासीन करता है और लार में उपस्थित ऐमाइलेज एंजाइम भोजन को पचाने में मदद करता है जिससे धीरे-धीरे लार के द्वारा एसिडिटी की समस्या नियंत्रित होने लगती है।
मंगलवार, 3 अक्टूबर 2017
खाने में कही सफ़ेद जहर तो नहीं खा रहे है आप Are you eating white poison in your food?
खाने में कहीं आप सफेद जहर तो नहीं खा रहे है आप
खाने में कहीं आप सफेद जहर तो नहीं खा रहे है आप
आज के नए लेख का टॉपिक है खाने में कहीं सफेद जहर तो नहीं खा रहे हैं आप
खाने-पीने और भोज्य सामग्री के बारे में हमारे देश भारत की स्थिति बहुत ही चिंताजनक है क्योंकि अधिकतर प्रोडक्ट में मिलावट और गुणवत्ता की कमी देखी जाती है और यह लोकल कंपनियों में ही नहीं बड़ी-बड़ी कंपनियों में भी मिलावट देखने को मिला है
गंभीर चिंता का विषय यह भी है कि भारत के हर त्यौहार के उपलक्ष में बनाई गई मिष्ठान और खाद्य सामग्रियों में 98% तक मिलावट देखी जाती है ऐसी स्थिति में हर नागरिक को जागरूक रहना बहुत ही जरूरी है क्योंकि भारत में व्यापार और उद्योग करने वाले को जनता के जीवन से कोई मतलब नहीं उनको केवल अपने लाभ से मतलब है।
भारत सरकार की सभी जांच एजेंसियां और जनहित विभाग बिना दांत वाले शेर के समान है इसलिए जनता को स्वयं जागरूक और जानकारी करने की जरूरत है जिससे अपने जीवन की रक्षा स्वयं कर सके
ऐसी ही जानकारी को बताने के लिए आज के इस लेख में कोशिश किया जा रहा है आईये इस के बारे में और जाने
आज के इस लेख में विशेष जानकारी दी जा रही है जिससे लोगों के जीवन की रक्षा हो सकेगी सफेद जहर के बारे में जो बताया गया है उसका सफेद चीनी से मतलब है।सफेद चीनी को बनाने के लिए बहुत सारे हानिकारक पदार्थों का उपयोग किया जाता है। सफेद चीनी का मतलब है पॉली सेकेराइड।जो विशेष प्रक्रिया से बनता है। हमारा शरीर डाइ सेकेराइड और मोनो सेकेराइड को आसानी से बचा सकता है। जबकि सफेद शक्कर जो पॉली सेकेराइड होता है। हमारा शरीर इसे पॉली सेकेराइड मे परिवर्तित करती है इसके लिए जब लीवर चीनी को पचाने का कार्य करता है तो पचाने के लिए काफी ऊर्जा और कैल्शियम की जरूरत होती है यदि लंबे समय तक सफेद चीनी का उपयोग किया जाए तो चीनी को पचाने के लिए हड्डियों में उपस्थित कैल्शियम ज्यादा खर्च होगी जिससे हड्डियों से संबंधित बीमारी होने लगेगी जैसे गठिया ,ऑस्टियोपोरोसिस, घुटनों का दर्द ,जोड़ों का दर्द ,अर्थराइटिस आदि रोग होने लगेंगे अर्थात शरीर में कैल्शियम की कमी होने पर घुटनों का दर्द ,जोड़ों का दर्द ,गठिया रोग जैसी समस्या उत्पन्न होने लगेगी।
चीनी को बनाने की प्रक्रिया
चीनी को बनाने की प्रक्रिया में सबसे पहले गन्ने के रस को हार्ट सल्फाॅनेशन अर्थात गर्म सल्फर डाइऑक्साइड से गुजारा जाता है उसके बाद रस के गाढ़े भाग में डिसमेट नामक प्रक्रिया का इस्तेमाल किया जाता है।
डिसमेट प्रक्रिया में फारमेल्डिहाइड का उपयोग होता है। फारमेल्डिहाइड वह रसायन है जिससे मरे हुये जानवरों एवम प्राणियों को सुरक्षित रखा जाता है। अस्पताल में लाशों को सुरक्षित रखने के लिए इसी रासायनिक घोल का उपयोग किया जाता है। शरीर 40 ppm फारमेल्डिहाइड लेने पर यह उत्तकों और कोशिकाओं को सख्त बना देती है।
गन्ने के रस को तीसरी प्रक्रिया में फास्फोरस पेंटा ऑक्साइड का उपयोग करके इसे दानेदार बनाया जाता है। फास्फोरस पेंटा आक्साइड एक जहरीला रसायन होता है जो शरीर में किसी प्रकार के सूजन के लिए जिम्मेदार होता है इसलिए भी चीनी को सफेद जहर कहा जा सकता है।
चीनी बनाने की अंतिम प्रक्रिया में पॉलीमर का उपयोग करके चीनी को सफेद और चमकदार बनाया जाता है। पॉलीमर कपड़े के धागे को मजबूत और चमकदार बनाने के काम आता है इस प्रकार गन्ने का रस मोनोसेकेराइड रासायनिक प्रक्रिया से गुजरने के बाद पॉलीसेकेराइड बदल जाता है।
जब चीनी ली जाती है तो शरीर का विटामिन बी नष्ट होने लगता है जिसके कारण हाइपो ग्लेशिमीया जैसी बीमारी हो सकती है। इसके कारण पेन क्रियाज का कार्य धीमा हो जाता है जिसके परिणाम स्वरुप डायबिटीज, खून में कोलेस्ट्रॉल का बढ़ जाना ,बीपी बढ़ जाना और धीरे-धीरे किडनी का कार्य करना बंद हो जाना।
इस प्रकार 50 ग्राम चीनी रोज खाते हैं तो पेनक्रियाज की उम्र 30% कम हो जाती है। एक अनुमान के अनुसार यदि साल भर चीनी खा रहे हैं तो मात्र दो माह चीनी खाना छोड़ दें तो आपके शरीर में गुणात्मक सुधार हो जाएगा आप देखेंगे कि आपके शरीर में इन्फेक्शन कम हो रही है। पेट से संबंधित बीमारियां कम हो रही है ,और छोटी-मोटी परेशानियां जैसे कब्ज , एसिडिटी, खट्टी डकार आना यह सब दूर हो जाएगा।
आज के इस लेख में इतना ही समय-समय पर जनहित में नई-नई जानकारी देते रहेंगे धन्यवाद
बिना मरे प्राप्त कर सकते है मुक्त अवस्था Can get nirvana without death
बिना मरे प्राप्त कर सकते है मुक्त अवस्था
आई इसके बारे में और जानकारी प्राप्त करें
- शील का मतलब होता है सदाचार का पालन करना ,अपने अंदर अच्छे गुणों का विकास करना और पूरे जीवन नैतिक मूल्यों पर जीवन व्यतीत करना।
- समाधि का मतलब होता है बाहरी चित्त और आंतरिक चित्त को एक साथ जोड़कर मन के गहराई में उतरने का अभ्यास।
- प्रज्ञा का मतलब होता है वह प्रत्यक्ष ज्ञान जिसके द्वारा सत्य असत्य अंधकार प्रकाश और भास्यमान सत्य को भेदते हुए प्रकृति के सभी घटनाओं को जैसा है वैसे ही देखने की शक्ति का विकास करना।
सोमवार, 2 अक्टूबर 2017
इस दिशा में ही क्यों बनाना चाहिए शौचालय। Why should toilets be built in this direction only?
इस दिशा में ही क्यों बनाना चाहिए शौचालय।
इस दिशा में ही क्यों बनना चाहिए शौचालय
हम सभी के भवन में शौचालय का बहुत ही महत्वपूर्ण स्थान होता है इसलिए अक्सर लोग इस बात की चर्चा करते रहते हैं कि यह शौचालय किस दिशा में बनवा जाए। यदि शौचालय का निर्माण सही दिशा में नहीं कराया गया है तो बहुत सारी समस्याओं का आना तय है। कुछ लोगों के जीवन में इतनी बीमारियां हो जाती हैं की दावों का बैग साथ लेकर घूमते रहते हैं। यदि एनालिसिस किया जाए तो यह बात निकाल कर आती है कि उनके घर में वास्तु की समस्या जरूर है। यदि वास्तु की समस्या को हल कर दिया जाए तो बहुत सारी समस्याओं का हल संभव हो सकता है। ऐसी समस्याओं को हल करने के लिए आज के इस लेख में यह जानकारी दी जा रही है।
आईये के बारे में और तथ्यात्मक जानकारी प्राप्त करें
हमारे भवन में वास्तु एक देव पुरुष की भांति हैं जिसका उल्लंघन करने पर दुष्परिणाम आने लगते हैं इसलिए वास्तु की जानकारी प्राप्त करनी चाहिए और इसके अनुरूप भवन का निर्माण करना चाहिए। वास्तु के बारे में बड़ी और गंभीर गलती होने पर उसका छोटे-मोटे उपाय द्वारा निदान संभव नहीं हो पता है। इसलिए वास्तु ज्ञान होना बहुत ही महत्वपूर्ण है।
कुछ दिशाओं में शौचालय का निर्माण करना बिल्कुल निषेध है जैसे
- नॉर्थ ईस्ट में शौचालय का निर्माण नहीं हो सकता है क्योंकि वास्तु पुरुष का सिर इसी दिशा में रहता है।
- साउथ ईस्ट में भी शौचालय बनाना उचित नहीं है क्योंकि यह अग्नि देव का स्थल माना जाता है
- इसी प्रकार नॉर्थवेस्ट में भी शौचालय बनाना उचित नहीं है और ना ही बनाया जा सकता क्योंकि यह दिशा धन की दशा मानी जाती है।
शौचालय बनाने का उचित दिशा
- शौचालय बनाने के लिए सही और उचित दिशा साउथ वेस्ट है। इस दिशा में शौचालय बनवा सकते हैं। इस दिशा में शौचालय बनाने से कोई दिक्कत या समस्या नहीं होती है। ऐसा वास्तु शास्त्र विशेषज्ञों का कहना है इसका प्रमुख कारण यह भी है कि इसमें उत्पन्न होने वाली नकारात्मक ऊर्जा का प्रभाव भवन पर नहीं पड़ने पता है।
समय-समय पर वास्तु से संबंधित उपयोगी जानकारी देते रहेंगे धन्यवाद।
इस तरीके से पढ़ोगे तो पढ़ा हुआ हमेशा रहेगा याद। If you read in this way, you will always remember what you read.
इस तरीके से पढ़ोगे तो पढ़ा हुआ हमेशा रहेगा याद
इस तरीके से पढ़ोगे तो पढ़ा हुआ हमेशा रहेगा याद
याद करने के तरीके
याद करने के तरीकों में कुछ महत्वपूर्ण और आवश्यक जानकारी दी जाएगी जो याद करने वालों के लिए काफी उपयोगी होगी।
इस विधि के बारे में और जानकारी करें --
आप सभी जानते हैं की मन के ऊपर लोगों का नियंत्रण नहीं रहता है इसलिए मन स्वभाव से स्वच्छंद होता हैं। जब से मनुष्य किसी चीज को जानना समझना प्रारंभ किया है तब से लेकर मृत्यु की क्षण तक मन हमेशा चलाएं मान रहता है। इसलिए मनुष्य की बहुत सारी ऊर्जा मन के गतिमान होने में खर्च हो जाती है आज के इस एपीसोड में एक विशेष जानकारी दी जा रही है इसके अभ्यास के द्वारा मन के दौड़ने की गति को कम किया जा सकता है। इसके अलावा पढ़ने और याद करने के कुछ तरीके हैं जिसका पालन करने से याद करना आसान हो जाएगा।
इसके लिए सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि आपको daily 20 मिनट का समय देना होगा।
20 मिनट शांत जगह बैठकर आना पान सती का अभ्यास करना होगा।
इस अभ्यास के लिए आसन लगाकर पूर्व दिशा की ओर मुख करके बैठना होगा।
ध्यान रहे की फर्श पर कुछ बिछाकर बैठना है। बैठने के लिए कोई भी आसान सुख पूर्वक चुन सकते हैं या पालथी मारकर बैठ सकते हैं।
बैठते समय ध्यान दें की सिर, गर्दन और शरीर एक सीध में होना चाहिए।
उसके बाद चुने हुए आसन पर बैठ जाए फिर सांसों की गति पर ध्यान लगाना होगा कि सांस कैसे आ रही है या जा रही है।
ध्यान करते समय दो बातों का ध्यान देना जरूरी है पहले पूरे शरीर में किसी प्रकार का हलन चलन नहीं होना चाहिए।
दूसरा आंखें बंद है तो बंद ही रखना चाहिए।
20 मिनट आंखें न खोले और बीच में ना कुछ कहना है पूरे मन को सांसों के आवागमन पर लगाना है।
साक्क्षी भाव से देखना है कि सांस आ रही है या जा रही है। यह प्रक्रिया लगातार 20 मिनट तक करना है।
20 मिनट के पहले आसान से बिल्कुल ना उठे बीच में बार-बार आपके मन में विचार आते रहेंगे लेकिन आपको विचारों में शामिल नहीं होना है केवल विचारों को देखना है कि विचार आ रहे हैं और जा रहे हैं।
कुछ दिनों के अभ्यास के बाद आप देखेंगे कि विचारों का आना-जाना और विचारों का प्रवाह कम हो गया है तथा धीरे-धीरे भागते दौड़ते मन के ऊपर नियंत्रण होता चला जायेगा और आप मन के गुलाम बनने की जगह मन के मालिक बन जाएंगे।
इसके साथ-साथ एक लाभ और भी होगा कि आपके अंदर बैठे हुए नकारात्मक चीजों का अस्तित्व और जड़ उखड़ने लगेगा और कुछ ही दिन के अभ्यास के बाद ही आपके मन की एकाग्रता और याद करने की क्षमता बढ़ने के साथ-साथ कार्य करने की क्षमता में विशेष सुधार होते दिखाई देने लगेगा।
पढ़ाई के समय याद करने की जो समस्या थी उसका हल निकलने लगेगा।
इसके अलावा कुछ और भी बदलाव करने की जरूरत है जिसको महत्वपूर्ण तथ्य के रूप में समझ सकते हैं। आप अपने आदत के बारे में अनुभव किया होगा यदि कोई चीज रंगहीन है और दूसरी चीज रंग बिरंगी है तो आपका ध्यान रंग बिरंगी चीजों पर ज्यादा जाता है अर्थात कोई चीज पढ़ना चालू करें तो पढ़ते समय मुख्य बिंदुओं को हाइलाइटर से कलर कर दिया करें। जिससे मन उस चीज को तेजी से समझ और ग्रहण कर सके।
दूसरी बात यह है कि कोई चीज रटने की जगह समझने का प्रयास करें जब किसी चीज को समझ कर पढ़ेंगे तो वह ज्ञान लॉन्ग टर्म मेमोरी में चला जाएगा। जहां पर याद की हुई चीज जल्दी भूलती नहीं है जबकि शॉर्ट टर्म मेमोरी में रहने वाली चीज जल्दी ही भूल जाती हैं।
जब किसी चीज को रट कर याद करते हैं तो रट कर याद किया हुआ ज्ञान शॉर्ट टर्म मेमोरी में रहता है इसलिए शॉर्ट टर्म मेमोरी की जो चीज हैं वह जल्द ही भूल जाती है। यही मुख्य अंतर है समझ कर पढ़ने में और रट कर याद करने में।
परीक्षा में आपका ज्ञान धोखा इसलिए दे देता है क्योंकि आप रट कर याद किए हुए रहते हैं। किसी चीज को समझ कर याद करने के लिए एक जरूरी बात यह है कि बिना देखे उस चीज को रफ पर एक बार जरूर लिख लिया करें।
आज के एपिसोड में बताई गई तकनीकी छोटी और लाभप्रद है इसलिए इसे आजमा कर देखते हैं तो चमत्कारिक परिणाम मिलेगा धन्यवाद
बर्तन जो खाद्य पदार्थों के साथ प्रतिक्रिया नहीं करते? these utensils which do not react with food ?
बर्तन जो खाद्य पदार्थों के साथ प्रतिक्रिया नहीं करते ये बर्तन अक्रियाशील होते हैं आज के इस लेख में हम उस बर्तन के बारे में बताएंगे कि वह कौ...
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खाने में कहीं आप सफेद जहर तो नहीं खा रहे है आप खाने में कहीं आप सफेद जहर तो नहीं खा रहे है आप आज के नए लेख का टॉपिक है खाने में कहीं सफेद...
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इसके पालन से न आग जला पायेगी और न पानी डुबो पायेगी। इसके पालन से न आग जला पायेगी और न पानी डुबो पायेगी। जब से मानव समस्याओं का विकास हुआ है ...
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अपने ही मुख से ठीक करे एसिडिटी अपने ही मुख से ठीक करें एसिडिटी। आज के इस लेख में हम बताएंगे कि आप अपने ही मुख से ठीक कर सकते हैं एसिडिटी एस...